पितृपक्ष का प्रारंभ 6 सितंबर को हो रहा है और 19 सितंबर को समाप्त होगा. इस बीच अपने पितरों को प्रसन्न करने के लिए आप क्या करें, किन बातों का ख्याल रखें और क्या ना करें, आइये जानते हैं.
पितृपक्ष में क्या न करें
पितृपक्ष के दौरान कुछ काम वर्जित होते हैं. मान्यता है कि इन्हें करने से पितृ नाराज होते हैं और श्राप भी दे सकते हैं…
1. सूर्य के रहते दिन के समय में कभी न सोएं.
2. पितृपक्ष में प्रणय प्रसंग से बचें.
3. पान का सेवन कदापि न करें.
4. पितृपक्ष में लहसुन प्याज से बना भोजन न करें.
5. कांच के बर्तनों का इस्तेमाल न करें.
7. मांस और मदिरापान पितृपक्ष में वर्जित है.
8. तांबूल अर्थात तंबाकू युक्त किसी भी पदार्थ का सेवन न करें.
9. शुभ कार्य जैसे की विवाह, गृहप्रवेश से बचें.
10. पुरुष वर्ग दाड़ी तथा बाल न कटवाएं.
पितृपक्ष में क्या कार्य करें
पितृपक्ष के दौरान पितरों को खुश करने के लिए और उनका आर्शीवाद पाने के लिए ये करना चाहिए…
1. सूर्योदय से पहले जागने का प्रयास करें.
2. जमीन पर गद्दा लगाकर सोएं.
3. तुलसीपत्र का नित्य सेवन करें.
5. शुद्ध घी में बने पकवान ही पितृ निमित करें.
6. तेज बोले तथा गालीगलौज करने से बचें.
7. सूती तथा धुले हुए कपड़े पहनें.
8. घर की दक्षिण दिशा में नित्य तेल का दीपक करें.
9. सौंदर्य प्रसाधनों का कम से कम इस्तेमाल करें.