जो लोग रेस से बाहर हुए हैं, उनमें किशन कपूर, रमेश ध्वाला, राजीव बिंदल, नरेंद्र बरागटा का नाम शामिल है। जिन लोगों को टीम जयराम में जगह मिली है, उनमें सुरेश भारद्वाज, महेंद्र सिंह ठाकुर, अनिल शर्मा, सरवीण चौधरी, डॉ. रामलाल मारकंडा, वीरेंद्र कंवर, विपिन सिंह परमार, डॉ. राजीव सहजल, गोविंद सिंह ठाकुर व विक्रम सिंह शामिल हैं।
बताया जा रहा है कि संतुलन साधने के लिए राजीव बिंदल को विधानसभा अध्यक्ष बनाया जा सकता है। उपाध्यक्ष पद भी किसी दिग्गज को ही मिलने के आसार हैं। देर रात तक मंत्रिमंडल के स्वरूप पर चर्चा होती रही। इस दौरान पार्टी के राज्य प्रभारी मंगल पांडे, पूर्व सीएम प्रेम कुमार धूमल, संगठन मंत्री पवन राणा, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती सहित भावी सीएम जयराम ठाकुर व अन्यों ने विचार-विमर्श किया।
मंत्रिमंडल गठन में सभी तरह का संतुलन साधने का प्रयास किया गया है। अनुभव से लेकर युवा जोश को तरजीह दी गई है। पिछला चुनाव हारे किशन कपूर व रमेश ध्वाला को जगह नहीं मिली है। इसी तरह युवा विधायक विपिन सिंह परमार को कैबिनेट में शामिल कर संकेत दिए गए हैं कि काम करने वालों को ही अहमियत दी जाएगी। इस कड़ी में कसौली से विधायक डॉ. राजीव सहजल का नाम भी अहम है।
डॉ. सहजल विनम्र व ईमानदारी छवि के लिए पहचान रखते हैं। सुरेश भारद्वाज को लगातार जीत का तोहफा मिला है। वहीं, महेंद्र सिंह के अनुभव को प्राथमिकता दी गई है। जनजातीय क्षेत्र से संतुलन साधने के लिए लाहौल-स्पीति से जीते डॉ. रामलाल मारकंडा को पार्टी हाईकमान ने मंत्री बनाने के लिए उपयुक्त पाया गया है। एक सीट फिलहाल खाली है। इस तरह जयराम ठाकुर के साथ 10 मंत्री भी शपथ लेंगे।