भगवान के दरबार में राजा और रंक में कोई फर्क नहीं होता, मगर बुधवार को यह फर्क ओरछा के रामराजा मंदिर में साफ नजर आया. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के मंदिर में दर्शन के लिए आम श्रद्धालुओं को लगभग आधा घंटे के लिए मंदिर जाने से रोक दिया गया.
मुख्यमंत्री चौहान बुधवार को मोरारी बापू की कथा सुनने ओरछा आने वाले थे, वह यहां रामराजा मंदिर में दर्शन करने भी जाने वाले थे. मुख्यमंत्री के आने से पहले प्रशासन ने आम श्रद्धालुओं को मंदिर के भीतर जाने से रोक दिया. इससे श्रद्धालु काफी परेशान रहे. मुख्यमंत्री के दर्शन के बाद ही श्रद्धालु मंदिर में दर्शन करने जा पाए.
मुख्यमंत्री के आने को लेकर दर्शन करने जाने से रोके जाने को लेकर श्रद्धालुओं में काफी नाराजगी रही. कई श्रद्धालुओं का कहना था कि वे मोरारी बापू की कथा सुनने से वंचित हुए और समय से रामराजा के दर्शन भी नहीं कर पाए.
संवाददाताओं ने मुख्यमंत्री से श्रद्धालुओं को मंदिर जाने से रोके जाने का सवाल पूछा तो उनका जवाब था कि वे उन अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करेंगे, जिन्होंने ऐसा किया है.मान्यता है कि ओरछा के राजा सिर्फ भगवान राम हैं. यही कारण है कि ओरछा की सीमा में कोई भी नेता अथवा प्रशासनिक अधिकारी अपने वाहन के ऊपर लगी बत्ती को जलाते हुए नहीं आता.