अभूतपूर्व सुरक्षा व्यवस्था के बीच राजपथ पर आयोजित परेड में सलामी मंच पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ आसियान के 10 देशों के नेता मौजूद हैं। आसियान देशों के नेताओं एवं राष्ट्राध्यक्षों में निम्नलिखित मेहमान शामिल हैं।
- ब्रूनेई के सुल्तान हाजी-हसनल-बोल्किया मुइज्जाद्दीन वदाउल्लाह
- इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विदोदो
- फिलीपींस के राष्ट्रपति रोड्रिगो रोआ डूतरेत
- कंबोडिया के प्रधानमंत्री हुन सेन
- सिंगापुर के प्रधानमंत्री ली सिएन लूंग
- मलेशिया के प्रधानमंत्री दातो स्री मोहम्मद नजीब बिन तुन अब्दुल रज़ाक
- थाईलैंड के प्रधानमंत्री जनरल प्रयुत छान-ओ-चा
- म्यांमार की स्टेट काउंसलर आंग सांग सू ची
- वियतनाम के प्रधानमंत्री नग्युएन जुआन फूक और
- लाओ पीडीआर के प्रधानमंत्री थोंगलोंन सिसोलिथ
मुख्य मंच पर उपस्थित रहे आसियान नेता
आसियान-भारत शिखर बैठक में भाग लेने के लिए 25 जनवरी को नई दिल्ली पहुंचे सभी नेताओं ने आज देश के 69वें गणतंत्र दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की। राजपथ पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ सभी नेता मुख्य मंच पर उपस्थित रहे।
बताया जाता है कि आसियान के साथ 28 जनवरी 1992 को भारत का डायलॉग पार्टनरशिप स्थापित होने के बाद हमारे संबंध काफी मजबूत हुए हैं। आज आसियान, भारत का सामरिक सहयोगी है। भारत और आसियान के बीच 30 वार्ता तंत्र हैं। ऐसे में एक अभूतपूर्व कदम के तहत 10 आसियान देशों के राष्ट्राध्यक्ष/ शासनाध्यक्षों को गणतंत्र दिवस समारोह में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया गया था।
भारत की एक्ट ईस्ट नीति दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के साथ उसके प्राचीन संबंधों को बेहतर बनाने के साथ ही राजनीतिक, सुरक्षा, आर्थिक और सांस्कृतिक संबंधों के माध्यम से पुन:स्थापित करते हैं।भारत-आसियान स्मारक शिखर सम्मेलन भारत-आसियान संबंधों के 25 साल पूरे होने के मौके पर आयोजित किया गया है। यह पहल ऐसे समय हुई है जब क्षेत्र में चीन का आर्थिक और सैन्य दखल बढ़ रहा है।