शिवजी को समर्पित सोमवार का पावन व्रत करने की विधि
पुराणों में वर्णित सोमवार का व्रत भगवान शिव की भक्ति के साथ-साथ कुंवारी कन्यायों के लिए बहुत लाभकारी होता है. ऐसा कहा जाता है कि इस व्रत को रखने से मनुष्य की सभी मनोकामनाएं भी पूर्ण होने के साथ ही कुंवारी कन्या को मनचाहा जीवनसाथी प्राप्त होता है. सोमवार का यह व्रत सूर्योदय से प्रारंभ होकर सूर्यास्त तक किया जाता है।
व्रत को करने कि विधि : सोमवार के दिन सूर्योदय से पहले स्नान करके और व्रत का संकल्प लेकर शिव मंदिर में जाना चाहिए. शुद्ध जल से शिवलिंग का अभिषेक करते हुए मंत्र- ऊँ महाशिवाय सोमाय नम: का जाप करना चाहिए .
फिर गाय के शुद्ध कच्चे दूध को शिवलिंग पर अर्पित करना चाहिए यह करने से मनुष्य के तन मन धन से जुडी सारी परेशानियां ख़त्म हो जाती है.
तत्पश्चात शिवलिंग पर शहद या गन्ने का रस चढ़ाना चाहिए फिर कपूर,इत्र,पुष्प-धतूरे और भस्म से शिवजी का अभिषेक कर शिव आरती करना चाहिए और अपनी मनोकामना पूर्ति की ह्रदय से प्रार्थना करना चाहिए.
इस व्रत में सफ़ेद रंग का खास महत्व होता है. व्रत वाले दिन सफ़ेद कपड़े पहनकर शिवलिंग पर सफ़ेद पुष्प चढ़ाने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है.