बता दें कि कुछ दिन पहले ही एसआईटी ने हाईकोर्ट में सातवीं स्टेटस रिपोर्ट पेश की। कोर्ट ने छह सप्ताह के भीतर मामले पर फैसला लेने के निर्देश दिए। मामले की अगली सुनवाई 18 मई को होगी। सुनवाई से पहले ही सभी संबंधित विभागों को आदेश जारी कर दिए गए हैं। गौर रहे कि बहुत से शिक्षण संस्थानों में आधारभूत संरचना समेत अन्य कई तरह की खामियां पाई गई हैं, जिसके चलते ये कार्रवाई की गई है।
एसआईटी की सिफारिशों के आधार पर बीएड कॉलेज, तकनीकी शिक्षण संस्थान और फार्मेसी संस्थानों पर एफआईआर दर्ज की जाएगी। इससे पहले ही सिफारिशों के आधार पर हाईकोर्ट ने इस मामले में संज्ञान लेते हुए एफआईआर दर्ज करवाने की आदेश दिए थे, जिस पर अब कार्रवाई करना शुरू हो गई है।
गौर रहे कि हाईकोर्ट ने जनहित याचिका की सुनवाई के बाद ये आदेश दिए थे और प्रदेश के कुछ शिक्षण संस्थानों की ओर से जाली प्रमाण पत्र जारी करने की जानकारी पर संज्ञान लेते हुए प्रदेश के सभी तकनीकी शिक्षण संस्थानों की विस्तृत जांच सीबीआई को सौंपी थी। सीबीआई ने मामले में एसआईटी गठन करने की मांगी की। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने एसआईटी का गठन किया।