वैदिक ज्योतिष में शुक्र स्त्री ग्रह होने के साथ-साथ सबसे चमकीला और शुभ ग्रह माना जाता है. शुक्र वृष और तुला राशि के स्वामी होते है शुक्र मीन राशि मे उच्च के और कन्या राशि मे नीच का प्रभाव देते हैं. शुक्र धन ऐश्वर्य कीमती चीजों के साथ साथ कामुकता का कारक भी है. शादी विवाह और जीवन का सुख और विद्यार्थियों में बुद्धिमानी शुक्र से ही देखी जाती है. आंखों की अच्छी सेहत भी शुक्र से देखी जा सकती है.
ज्योतिष अनुसार कमजोर शुक्र को कैसे पहचानें?
1 जन्म कुंडली में यदि शुक्र छठे आठवें भाव में पापी ग्रहों के साथ हो.
2 यदि आपके चेहरे की चमक और नेत्रज्योति दिन प्रतिदिन कमजोर हो रही हो.
3 रात के समय आप ज्यादा मिठाई खाते हैं.
4 यदि आपकी कमर और पिंडलियों में दर्द रहता है.
5 विपरीत लिंग की तरफ आप बहुत जल्दी आकर्षित हो जाते हैं.
6 शुक्र कन्या राशि मे होने के साथ साथ पापी ग्रहों से दृष्ट हो.
7 पुरुषों के विवाह में बहुत ज्यादा परेशानी आ रही हो.
शुक्र को कैसे करें बलवान?
1 घर की दक्षिण पूर्वी दिशा को हमेशा साफ रखें.
2 घर की सभी स्त्रियों का दिल से सम्मान करें.
3 अपने नहाने के जल में एक चम्मच गाय का दूध डालें.
4 मखाने की खीर में इलायची डालकर खाएं.
5 साबूदाने की खीर या पापड़ खाएं.
6 गहरे काले नीले वस्त्रों का प्रयोग ना करें.
7 रोज रसोईघर में कार्य शुरू करने से पहले आग्नेय कोण में घी का दीपक जलाएं.
शुक्र को प्रसन्न करने के महाउपाय
1 शुक्रवार के दिन जरूरतमंद स्त्रियों को चावल, मिश्री तथा वस्त्रों का दान शाम के समय करें.
2 शुक्रवार के दिन शाम के समय एक बेलपत्र पर सफेद चंदन से ॐ लिखें और शिवलिंग पर उल्टा करके अर्पण करें.
3 ॐ शुं शुक्राय नमः मन्त्र का 108 बार शाम के समय आसन पर बैठकर स्फटिक की माला से जाप करें.
4 दस साल से कम उम्र की कन्याओ को कुछ उपहार जैसे टॉफी चॉकलेट कपड़े दें.
5 किसी विद्वान की सलाह लेकर ओपल जरूर धारण करें.