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हिमाचल में बर्फबारी से 2000 ट्रांसफार्मर ठप….

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हिमाचल में हुई भारी बर्फबारी से दो हजार से अधिक बिजली ट्रांसफार्मर ठप हो गए हैं। कुल्लू, लाहौल, किन्नौर और शिमला जिले के अधिकतर इलाकों में ब्लैक आउट हो गया है। बर्फीले इलाकों में कई जगह बीते पांच दिनों से अंधेरा पसरा हुआ है। इन क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को कड़कती ठंड में रातें गुजारना मुश्किल हो गया है। स्कूल, दफ्तर जाने वाले बच्चे और कर्मचारी परेशान हैं। परीक्षाओं की तैयारियों में जुटे विद्यार्थियों की समस्याएं भी बढ़ गई हैं। राजधानी शिमला के कई क्षेत्रों में शुक्रवार शाम तक भी बिजली सप्लाई सुचारु नहीं हो सकी है। बीते लगातार तीन दिनों से शहर के कई क्षेत्रों में अंधेरा पसरा हुआ है।

रामपुर के कई ग्रामीण इलाकों सहित ननखड़ी तहसील की 17 पंचायतों में बीते तीन दिन से विद्युत आपूर्ति बाधित है। रोहडू, चौपाल उपमंडल के ग्रामीण इलाकों में भी बिजली गुल है। आनी में 90 ट्रांसफार्मर बंद हैं। नारकंडा, मतयाना, कचीनघाटी, फागू में भी बिजली सप्लाई ठप पड़ी है। किन्नौर में 231 ट्रांसफार्मर ठप हैं। काजा और स्पीति वैली पांच दिन से अंधेरे में है। सिरमौर में तीसरे दिन भी जनजीवन पटरी पर नहीं लौटा है। ट्रांसगिरि क्षेत्र में करीब 102 ट्रांसफार्मर प्रभावित होने से 118 पंचायतों में अंधेरा पसरा है।नौहराधार व हरिपुरधार इलाके की 15 पंचायतों के लोग पेयजल किल्लत झेल रहे हैं। जिला कुल्लू में लगभग 200 बिजली के ट्रांसफार्मर जाम हो गए हैं। इससे कई गांवों में पांच दिनों से ब्लैक आउट है

किन्नौर जिला के कई क्षेत्रों में भी बिजली आपूर्ति ठप है। जिला सिरमौर के ट्रांसगिरि क्षेत्र में 102 ट्रांसफार्मर बंद हैं। क्षेत्र की 118 पंचायतों में अंधेरा पसरा है। जिला कांगड़ा के दुर्गम क्षेत्र मुल्थान के 30 गांव अंधेरे में डूबे हुए हैं। क्षेत्र में 18 ट्रांसफार्मर अभी भी खराब हैं। विद्युत बोर्ड ने दो दिन में 68 ट्रांसफार्मरों को दुरुस्त कर दिया है, जबकि अन्य ट्रांसफार्मरों को ठीक करने का कार्य चला हुआ है। बिजली बोर्ड के प्रबंध निदेशक जेपी कालटा ने बताया कि ट्रांसफार्मरों को दुरुस्त करने का कार्य जारी है। जल्द सभी प्रभावित क्षेत्रों में सप्लाई सुचारु कर दी जाएगी

वहीं, जनजातीय क्षेत्र केलांग में 12 साल बाद वीरवार की रात सबसे ठंडी रिकॉर्ड हुई है। केलांग कान्यूनतम तापमान माइनस 17.6 डिग्री रहा। साल 2008 में जनवरी में यहां का पारा माइनस 18 डिग्री सेल्सियस था। उधर, राजधानी शिमला सहित प्रदेश के नौ क्षेत्रों का रात का तापमान माइनस में पहुंच गया। नाहन में वीरवार रात को सबसे अधिक 6.1 डिग्री न्यूनतम पारा रिकॉर्ड हुआ। प्रदेश के अन्य सभी क्षेत्रों का न्यूनतम तापमान इससे कम रहा।प्रदेश में जारी भारी बारिश और बर्फबारी को देखते हुए बिजली बोर्ड ने अधिकारियों और कर्मचारियों की छुट्टियां 26 जनवरी तक रद्द कर दी हैं। बोर्ड के प्रबंध निदेशक जेपी कालटा ने बताया कि बिजली सप्लाई सुचारु रखने के लिए यह फैसला लिया गया है। आने वाले समय में इन छुट्टियों को एडजस्ट कर दिया जाएगा।

एचआरटीसी ने दावा किया था कि नई इलेक्ट्रिक बसें बर्फ पर भी चलने में सक्षम होंगी। बाकायदा, इनका ट्रायल भी किया गया, लेकिन बर्फ गिरी तो दावों की पोल खुल गई। एक भी इलेक्ट्रिक बस सड़क पर नहीं दिख रही है। एचआरटीसी शिमला लोकल डिपो के कार्यकारी क्षेत्रीय प्रबंधक राजेंद्र शर्मा ने बताया कि एचआरटीसी की अधिकतर इलेक्ट्रिक बसें भारी बर्फबारी के बाद ढली वर्कशॉप में फंसी हुई हैं। जो बसें वर्कशॉप के बाहर हैं, उन्हें ओल्ड बस स्टैंड आईएसबीटी रूट पर चलाया जा रहा है। ढली वर्कशॉप से बसों को निकालने के बाद शनिवार से इनका संचालन शुरू करने का प्रयास किया जाएगा। बर्फबारी के बाद शिमला जिले में डाक सेवाएं भी ठप हैं। एडिशनल चीफ  पोस्टमास्टर जनरल विशन सिंह का कहना है कि ठियोग, चौपाल, नेरवा, रामपुर क्षेत्रों के लिए डाक सेवा प्रभावित हैं। इन क्षेत्रों के लिए डाक एचआरटीसी बसों के जरिये भेजी जाती है। जिला प्रशासन जैसे ही सड़कें बहाल करता है, इन क्षेत्रों के लिए विशेष वाहन भेजकर डाक सेवाएं सुचारु कर दी जाएंगी

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