Home हिमाचल प्रदेश वित्त वर्ष 2020-21 के लिए 7900 करोड़ होगा योजना आकार: CM जयराम..

वित्त वर्ष 2020-21 के लिए 7900 करोड़ होगा योजना आकार: CM जयराम..

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वित्त वर्ष 2020-21 के लिए 7900 करोड़ रुपये का राज्य योजना आकार प्रस्तावित किया गया है। यह 11 प्रतिशत वृद्धि के साथ वर्ष 2019-20 की तुलना में 800 करोड़ रुपये अधिक है। यह जानकारी मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने मंगलवार को सोलन, सिरमौर और शिमला जिलों के विधायकों के साथ आगामी बजट के लिए उनकी प्राथमिकताएं निर्धारित करने के उद्देश्य से आयोजित बैठक के दौरान दी। सीएम ने कहा कि राज्य सरकार केंद्र सरकार से 6900 करोड़ रुपये की सात प्रमुख बाह्य आर्थिक सहायता प्राप्त परियोजनाएं मंजूर करवाने में सफल हुई हैं।

इनमें पर्यटन विकास, बागवानी विकास, पेयजल संवर्धन, पर्यावरण संरक्षण, वन प्रबंधन और राज्य सड़क परियोजनाएं चरण-दो शामिल हैं। इसके अतिरिक्त 7029 करोड़ रुपये के चार अन्य बाहरी आर्थिक सहायता प्राप्त परियोजनाएं वन, रज्जू मार्ग, आपदा प्रबंधन और ऊर्जा क्षेत्र केंद्र सरकार के पास मंजूरी के लिए विचाराधीन हैं। इनसे किसानों और बागवानों की आर्थिक स्थिति में व्यापक स्तर पर सुधार होगा और युवाओं को रोजगार के अवसर मिलेंगे। नाबार्ड ने 445.49 करोड़ रुपये की 122 परियोजनाएं स्वीकृत की हैं, जिन्हें वर्तमान वित्त वर्ष के दौरान विधायकों की प्राथमिकताओं में शामिल किया गया है।

धर्मशाला में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स मीट में 703 समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए गए जिनसे 96721 करोड़ रुपये का निवेश आकर्षित होगा। इनमें से 13,656 करोड़ रुपये की 240 परियोजनाओं का ग्राउंड ब्रेकिंग समारोह हाल ही में 27 दिसंबर को किया गया। यह इस बात का प्रमाण है कि हिमाचल को निवेश के लिए पसंदीदा गंतव्य बनाने के लिए सरकार गंभीर प्रयास कर रही है। इन प्रयासों से जहां प्रदेश के युवाओं को रोजगार और स्वरोजगार के अवसर प्राप्त होंगे वहीं राज्य कोष में करोड़ों रुपये का राजस्व आएगा। सीएम ने कहा कि जनमंच लोगों की समस्याओं के त्वरित समाधान करने की दिशा में एक कारगर पहल साबित हुई है और अभी तक 45 हजार से अधिक शिकायतों का निवारण किया जा चुका है। इसी तरह से मुख्यमंत्री सेवा संकल्प हेल्पलाइन-1100 के तहत दिसंबर माह के अंत तक 30,303 शिकायतों का समाधान किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की विभिन्न योजनाएं लोगों को लाभान्वित करने में सफल सिद्ध हो रही हैं। हिमाचल देश का पहला राज्य बन गया है जहां हर घर में एलपीजी कनेक्शन है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सतत विकास लक्ष्यों के तहत हासिल उपलब्धियों के लिए नीति आयोग की रिपोर्ट में हिमाचल को श्रेष्ठ राज्य आंका गया है। विभिन्न विभागों की विकास योजनाओं की प्रगति का ऑनलाइन अनुश्रवण किया जा रहा है, ताकि सभी योजनाओं को निर्धारित समय में पूरा किया जा सके और इनमें गुणवत्ता भी बनी रहे। प्रदेश सरकार ने पारदर्शी और जिम्मेवार शासन देने का कार्य किया है और ‘सबका साथ सबका विकास’ के ध्येय के साथ समाज के सभी वर्गों का कल्याण सुनिश्चित बनाया जा रहा है। वर्ष 2020 21 के बजट के लिए विधायकों की प्राथमिकताओं के निर्धारण के लिए दूसरे सत्र में मंडी और किन्नौर जिलों के विधायकों की बैठक हुई। बैठक की अध्यक्षता करते हुए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्य सरकार विचार करेगी कि विधायकों की प्राथमिकता बैठकें वर्ष में दो बार आयोजित हो ताकि उनकी प्राथमिकताओं वाले कार्यों की प्रगति की समीक्षा की जा सके। कहा कि ये बैठकें प्रदेश के विकास के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सरकार की नीतियों एवं कार्यक्रमों के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए सकारात्मक सोच के साथ कार्य करें ताकि लक्षित वर्गों तक इनका लाभ मिल सके।

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