यूपी की राजधानी लखनऊ में शुक्रवार सुबह पुलिस ने एनकाउंटर में शार्प शूटर सुनील शर्मा को मार गिराया। सुनील इसी साल जुलाई में लखनऊ कोर्ट में पेशी के दौरान फरार हो गया था। इसके बाद से ही पुलिस की 4 टीम इसकी तलाश में जुटी थी। शुकवार को मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने ये कार्रवाई की। सुनील यूपी के चर्चित गैंग सलीम-सोहराब का शूटर था। फरार होने के बाद लखनऊ में एक्टिव था बदमाश.
लिस के मुताबिक, सुनील शर्मा को जुलाई में हरदोई जेल से लखनऊ कोर्ट पेशी पर लाया गया था, जहां से वह चकमा देकर फरार हो गया था। 27 अगस्त को सुनील ने लखनऊ के सरोजनीनगर के एक व्यापारी से रंगदारी मांगी। जब व्यापारी ने सरोजनीनगर थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई, तो पुलिस को सुनील के लखनऊ में एक्टिव होने की जानकारी हुई। सुनील ने व्यापारी को जिस मोबाइल नंबर से कॉल किया था पुलिस ने उसे भी ट्रेस किया, लेकिन वो स्विच ऑफ था।
पुलिस को शुक्रवार सुबह मुखबिर से सूचना मिली कि सुनील लखनऊ के मुंशी पुलिया के पास अपने एक साथी के साथ मौजूद है। इस पर पुलिस टीम मुंशी पुलिया पहुंची। पुलिस को देखते ही सुनील अपने साथी के साथ बाइक से भागने लगा। पुलिस ने भी सुनील का पीछा किया। जब सुनील हजरतगंज होते हुए गोसाइगंज स्टेडियम के पास पहुंचा तो पुलिस की दूसरी टीम ने उसे घेर लिया। पुलिस के मुताबिक, जब सुनील को सरेंडर करने को कहा गया तो उसने फायर कर दिया। इस पर जवाबी कार्रवाई करते हुए पुलिस ने उसे मार गिराया। फिलहाल सुनील का एक साथी फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है।
एसएसपी दीपक कुमार ने कहा, ”15 हजार का इनामी बदमाश सुनील शर्मा एक महीने पहले कचहरी से फरार हो गया था। उसकी तलाश में हमारी टीमें लगी हुई थीं। कुछ दिन पहले इसने एक व्यापारी को धमकी दी थी। शुक्रवार सुबह एनकाउंटर में इसे मार गिराया गया। इसका एक साथी फरार है जिसकी तलाश जारी है।”
सुनील बिहार के सिवान जिले का रहने वाला था। वो सिवान के पूर्व सांसद शहाबुद्दीन का नजदीकी था। सुनील पर बिहार में भी कई मुकदमें दर्ज हैं। शहाबुद्दीन से नजदीकी के चलते इसकी पहचान यूपी के चर्चित गैंग सलीम-सोहराब के सलीम से हुई। जान पहचान के बाद सुनील इस गैंग के लिए शार्प शूटर का काम करने लगा। साल 2013 में इसने लखनऊ कैंट से पार्षद रहे बसपा नेता श्याम नारायण पांडेय की हत्या कर दी। इस मामले में इसे गिरफ्तार कर लिया गया और हरदोई जेल में रखा गया था। जेल में रहते हुए भी सुनील व्यापारियों से रंगदारी मांगता था। इस तरह की शिकायतें कई बार की गई थीं।