मध्य प्रदेश में शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व वाली सरकार ने सांसदों को 25 लाख रुपए की स्वेच्छानुदान निधि देने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. शिवराज सरकार ने ये फैसला ऐसे वक्त लिया है, जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सांसद निधि बढ़ाने के प्रस्ताव को ठुकरा चुके हैं.
शिवराज सिंह चौहान कैबिनेट की मंगलवार को हुई बैठक में स्वेच्छानुदान राशि बढ़ाने के प्रस्ताव को रखा गया था. सांसदों को 25 लाख रुपए देने के प्रस्ताव पर कैबिनेट ने अपनी मुहर लगा दी. बताया जा रहा है कि कैबिनेट की मंजूरी के बाद अब राज्य सरकार बजट में इस राशि का प्रावधान करेगी. मध्य प्रदेश में इसी साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने है. अगले साल के मध्य में लोकसभा चुनाव भी प्रस्तावित है. ऐसे में शिवराज सरकार की कोशिश है कि सांसदों के स्वेच्छानुदान निधि देने का प्रस्ताव अगले दो या तीन महीनों में पूरी तरह से अमल में आ जाए.
दरअसल, सांसद मांग कर रहे थे कि सांसद निधि की राशि को पांच करोड़ से बढ़ाकर 10 करोड़ रुपए कर दिया जाए. प्रधानमंत्री मोदी खर्च पर लगाम लगाने की कवायद के चलते इस प्रस्ताव को खारिज कर चुके हैं. मध्य प्रदेश सरकार पहले ही सांसदों को संपर्क निधि के तौर पर 75 हजार रुपए प्रति विधानसभा क्षेत्र की राशि दे रही है. सांसद यदि निर्धारित प्रावधानों के अतिरिक्त किसी राशि के प्रस्ताव को मंजूर करते हैं, तो मुख्यमंत्री से चर्चा के बाद ही ऐसे प्रस्ताव को अनुमोदित किया जाएगा.