मुरैना के इस कार्यक्रम में केंद्रीय रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण, केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सहित अनेक मंत्री पहुंचे, मगर सांसद की गैरहाजिरी चर्चा का विषय बनी रही। मिश्रा के करीबियों का कहना है कि प्रशासन और सरकार उनको महत्व नहीं दे रही है, साथ ही जनहित के काम को भी प्रशासन महत्व देने से कतरा रहा है इस वजह से मिश्रा नाराज हैं।
ज्ञात हो कि पिछले दिनों लोकसभा में चर्चा के दौरान मिश्रा के तल्ख तेवर नजर आए थे। उस वक्त सदन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी मौजूद थे। तब कई नेताओं ने इशारा कर मिश्रा को बैठने को कहा, मगर वे नहीं रुके और जमीनी हकीकत को बयां कर सरकार को ही कटघरे में खड़ा कर दिया था। मुरैना के कार्यक्रम में न पहुंचने के संदर्भ में मिश्रा से संपर्क किया गया, मगर वे उपलब्ध नहीं हुए। एक अधिकारी ने नाम जाहिर न करने की शर्त पर स्वीकारा कि मिश्रा कार्यक्रम में नहीं आए।