ब्रह्माण्ड विज्ञानी स्टीफन हॉकिंग का 76 साल की उम्र में निधन हो गया है. अ ब्रीफ हिस्ट्री ऑफ टाइम किताब के इस लेखक के परिवार के एक सदस्य ने ये जानकारी दी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज महान ब्रह्मांड विज्ञानी स्टीफन हॉकिंस के निधन पर आज दुख जताया और कहा कि उनके धैर्य और दृढ़ता ने दुनियाभर के लोगों को प्रेरणा दी है. प्रधानमंत्री मोदी ने हॉकिंस को एक उत्कृष्ट वैज्ञानिक और शिक्षाविद बताते हुए कहा कि उनका निधन दुखद है. उन्होंने यह भी कहा कि उनके काम ने विश्व को एक बेहतर स्थान बनाया है.
प्रधानमंत्री ने ट्विटर पर कहा, ‘‘ प्रोफेसर स्टीफन हॉकिंस एक उत्कृष्ट वैज्ञानिक और शिक्षाविद थे. उनके धैर्य और दृढ़ता ने पूरी दुनिया में लोगों को प्रेरित किया है. उनका निधन दुखद है. प्रोफेसर हॉकिंस के अग्रणी कार्य ने विश्व को एक बेहतर स्थान बनाया है. भगवान उनकी आत्मा को शांति दे.
दुनिया के सर्वश्रेष्ठ वैज्ञानिकों में शामिल स्टीफन हॉकिंग का 76 साल की उम्र में निधन हो गया है. ‘अ ब्रीफ हिस्ट्री ऑफ टाइम’ किताब के इस लेखक के परिवार के एक सदस्य ने ये जानकारी दी है. उनकी बेटी लूसी, बेटे रॉबर्ड और टिम ने एक बयान में कहा, “हम बेहद दुखी हैं कि हमारे पिता अब नहीं रहे. वो एक महान वैज्ञानिक थे और एक अद्भुत इंसान भी थे. उनका काम लोगों के बीच अमर रहेगा.”
महान भौतिकीविद और ब्रह्मांड विज्ञानी स्टीफन हॉकिंस का आज कैम्ब्रिज स्थित उनके आवास पर निधन हो गया. वह76 वर्ष के थे. उन्होंने ब्रह्मांड के रहस्यों को खोजा और वैश्विक तौर पर एक प्रेरक हस्ती बन गए. वह अपने शरीर हो हिला नहीं सकते थे और व्हिलचेयरपर ही रहते थे.
बयान में आगे कहा गया है कि अगर ये ब्रह्माण्ड उन लोगों का घर नहीं होता जिन्हें आप चाहते हैं तो ये बहुत महत्व का नहीं होता. हम उन्हें हमेशा याद रखेंगे. हॉकिंग एक ब्रह्मांड विज्ञानी थे. आपको बता दें कि साल 2014 में उनके ऊपर एक फिल्म बनी थी जिसका नाम ‘द थ्योरी ऑफ एवरीथिंग’ था. फिल्म में एडी रेडमायने ने हॉकिंग की ऐतिहासिक भूमिका निभाई थी. इसके लिए रेडमायने को बेस्ट एक्टर का ऑस्कर भी मिला था.
हॉकिंग motor neurone की बीमारी से पीड़ित थे. उन्हें ये बीमारी 1963 में हुई थी. जब उन्हें ये बीमारी हुई तब वो अपनी युवा अवस्था में थे. बीमारी के बाद उन्हें बताया गया कि उनके पास जीने के लिए महज़ दो साल और बचे हैं. लेकिन ये जानते हुए भी वो पढ़ाई करने के लिए केम्ब्रिज चले गए और अपने काम से अलबर्ट आइंस्टाइन जैसा कद हासिल किया.
हॉकिंग ने साल 1974 में ब्लैक होल्स की थ्योरी से दुनिया का परिचय कराया था जिसे बाद में हॉकिंग रेडिएशन के नाम से जाना गया. इसमें उन्होंने ब्लैक होल्स की लीक एनर्जी के बारे में बताया. वही वो थ्योरी ऑफ कॉस्मोलॉजी के भी जनक माने जाते हैं जिसे यूनियन ऑफ रिलेटिविटी और क्वांटम मैकेनिक्स के तौर पर भी जाना जाता है. उनकी किताब ए ब्रीफ हिस्ट्री ऑफ टाइम 1988 में आई थी जिसकी एक करोड़ से ज्यादा कॉपियां बिकी हैं.