धरमपुरी से कांग्रेस विधायक पांचीलाल मेड़ा ने शुक्रवार को अपने पद से इस्तीफा देे दिया। मुख्यमंत्री कमलनाथ को भेजे त्यागपत्र में मेड़ा ने शराब माफिया पर कार्रवाई नहीं होने से दुखी होने की बात कही है। कुछ दिन पहले विधायक मेड़ा और उनके समर्थकों का शराब ठेकेदार से विवाद हुआ था। विवाद के बाद शराब ठेकेदार ने विधायक और उनके समर्थकों पर मुफ्त की शराब नहीं देने पर अपहरण कर मारपीट करने और 20 लाख की फिरौती मांगने का आरोप लगाया
शुक्रवार को मुख्यमंत्री को भेजे अपने त्यागपत्र में मेड़ा ने लिखा है कि मैं और मेरे कार्यकर्ताओं के खिलाफ शासकीय शराब दुकान के ठेकेदार द्वारा अभद्र व्यवहार एवं जाति सूचक शब्दों का प्रयोग किया गया, और मेरे खिलाफ षडयंत्र रचा गया जिससे मैं बहुत दुखी हूं।
इस मामले में जिला प्रशासन ने मुझे कोई सहयोग नहीं दिया। संबंधित के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। शराब की दुकान धामनोद एवं सुन्द्रैल से हटाने के साथ ही धार के अतिरिक्त जिला अधिकारी राधेश्याम राय को भी अन्यत्र करने का लिखा गया था। इनका भी शराब माफियाओं के साथ अवैध परिवहन एवं बिक्री में सहयोग है। मेरे एवं मेरी पार्टी के कार्यकर्ताओं के खिलाफ जो रिपोर्ट लिखी गई है उसे भी वापस लिया जाए।
कांग्रेस जिलाध्यक्ष बालमुकुंदसिंह गौतम ने कहा अनिल आर्य कांग्रेस का सदस्य है, लेकिन वह सक्रिय नहीं है। उसके संबंध में ब्लॉक पदाधिकारियों से रिपोर्ट आते ही यदि दोषी पाया जाता है तो कार्रवाई की जाएगी। यह रिपोर्ट प्रदेश कार्यालय को भेजी जाएगी। जो भी निर्देश आएंगे उस अनुरूप कार्रवाई की जाएगी। यह हमारी पार्टी का अंदरूनी मामला है। जिलाध्यक्ष गौतम ने कहा जो कोई भी प्रदेश कांग्रेस, जिला कांग्रेस या कांग्रेस के नाम पर किसी प्रकार की वसूली करेेगा उसे बख्शा नहीं जाएगा। हम इस प्रकार के लोगों का पक्ष नहीं लेते हैं। मामले में धरमपुरी विधायक पांचीलाल मेड़ा पर झूठे आरोप लगाए जा रहे हैं। उन्होंने न तो फिरौती मांगी और न ही कोई मारपीट की है। यह भाजपा का चुनाव के पहले उनकी छवि खराब करने का षड्यंत्र है।
कांग्रेस का यह कहना कि जितने भी मामले अनिल आर्य पर हैं वे बीजेपी के राज में दर्ज हैं इस प्रकार के बयान पूरी तरह से राजनीति से प्रेरित हैं। भाजपा जिलाध्यक्ष राज बर्फा ने कहा 3-4 महीने में धार जिले में ऐसे तत्वों को प्रश्रय देने से अपराध बढ़े हैं।
धामनोद टीआई दिलीप चौधरी का कहना है कि दोनों की पक्षों से आवेदन लेने के बाद उन्हें गुरुवार को बयान देने के लिए थाने पर बुलाया था। शराब ठेकेदार ने आकर अपना बयान दर्ज करवा दिया है, लेकिन विधायक पक्ष के अनिल आर्य और अन्य दो लोग बयान देने के लिए नहीं पहुंचे। इससे जांच पूरी नहीं हो सकी है। अभी किसी भी पक्ष पर केस दर्ज नहीं किया गया है।
वहीं शराब ठेकेदार फूलबदनसिंह का कहना है एफआईआर कराने के लिए आज दिन में तीन से चार बार थाने पर गया मगर पुलिस दर्ज करने को तैयार नहीं हो रही है। पुलिस आज दर्ज नहीं करती है तो मैं कल पुलिस अधीक्षक धार जाकर एफआईआरदर्ज कराऊंगा।धामनोद के शराब ठेकेदार फूलबदनसिंह ने विधायक और उनके समर्थकों अनिल आर्य पर आरोप लगाया था कि मंगलवार (26 मार्च) की रात मुफ्त की शराब नहीं देने पर अपहरण कर उसके साथ मारपीट की गई साथ ही 20 लाख रुपए की फिरौती भी मांगी गई।