नागरिकता संशोधन कानून के नोटिफिकेशन को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है. इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग ने इसके खिलाफ याचिका दाखिल की है. याचिका में CAA के नोटिफिकेशन पर रोक की मांग की गई है. बता दें, 10 जनवरी से देश में CAA कानून लागू हो गया है. इसके साथ ही देश में NRC लागू करने की सरकार की क्या योजना है, ये मामला भी सुप्रीम कोर्ट पहुंचा है. इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग ने ही ये याचिका भी दाखिल की है. याचिका में कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट केंद्र सरकार से पूछे कि क्या देशभर में NRC लागू करने की सरकार कोई तैयारी कर रही है?
इस बाबत केंद्र सरकार से स्पस्टीकरण मांगा जाए.
याचिका में IUML ने CAA के तहत नागरिकता प्रदान करने के लिए लगभग 40000 गैर-मुस्लिम प्रवासियों की पहचान करने के लिए यूपी सरकार के कदमों का हवाला दिया है और कानून के संचालन पर तत्काल रोक लगाने के लिए कहा है.
दूसरी अर्जी में NPR और NRC के बीच संबंध को लेकर कथित तौर पर पीएम मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और अन्य केंद्रीय मंत्रियों द्वारा विरोधाभासी बयानों का हवाला दिया है. याचिका में मांग की गई है कि अगर NRC अखिल भारतीय NRC के लिए पहला कदम है तो केंद्र सुप्रीम कोर्ट में एक बयान दे. 22 जनवरी को CAA के खिलाफ दाखिल याचिकाओं पर सुनवाई होनी है