टीम इंडिया ने ब्रिसबेन में पहले शुभमन गिल और फिर ऋषभ पंत की जोरदार पारियों के दम पर चौथे और आखिरी टेस्ट क्रिकेट मैच में तीन विकेट से ऐतिहासिक जीत दर्ज करके सीरीज अपने नाम कर ली। इसके साथ ही भारत ने ऑस्ट्रेलिया की गाबा मैदान में 32 सालों से चली आ रही बादशाहत भी खत्म कर दी। भारत ने एडिलेड में पहला टेस्ट मैच गंवाने के बाद शानदार वापसी की और ऑस्ट्रेलिया को उसकी सरजमीं पर लगातार दूसरी बार सीरीज में 2-1 से हराकर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी अपने पास बरकरार रखी। भारत से टेस्ट सीरीज गंवाने के बाद ऑस्ट्रेलिया टीम के हेड कोच जस्टिन लैंगर ने अपना रिएक्शन दिया है।
फिटनेस समस्याओं से जूझती अनुभवहीन भारतीय टीम से टेस्ट सीरीज हारने पर लैंगर ने मंगलवार को कहा कि उन्होंने इस झटके से बड़ा सबक सीखा है कि भारतीय टीम को कभी भी कमतर नहीं आंकना है। भारत ने चौथे टेस्ट के साथ सीरीज 2-1 से जीती। लैंगर ने ‘चैनल सेवन’ से कहा कि यह बेहतरीन टेस्ट सीरीज थी। आखिर में एक हारता है और एक जीतता है। आज टेस्ट क्रिकेट जीता। हमें यह हार लंबे समय तक खलेगी। भारत को पूरा श्रेय जाता है। हमने इससे सबक सीखा है।
उन्होंने कहा कि पहली बात कि कभी किसी चीज को हल्के में नहीं लेना और दूसरा यह कि भारतीयों को कभी कमतर नहीं आंकना। भारत की आबादी लगभग डेढ़ अरब है और अगर आप उसकी प्लेइंग इलेवन में हैं तो वाकई काफी उम्दा और मजबूत खिलाड़ी होंगे। लैंगर ने कहा कि एडिलेड में 36 रन पर आउट होने के बाद भारत की वापसी शानदार थी, खासकर जसप्रीत बुमराह और रवींद्र जडेजा जैसे बड़े खिलाड़ियों के चोटिल होने के बावजूद।
उन्होंने कहा कि भारतीय टीम की जितनी तारीफ की जाए, कम है। पहले मैच में तीन दिन में हारने के बाद भी उन्होंने हौसला नहीं छोड़ा और शानदार वापसी की। हमें बड़ा सबक मिला है और अब कभी भारत को हल्के में नहीं लेंगे। जीत के सूत्रधारों में शामिल ऋषभ पंत की 89 रन की नाबाद पारी के बारे में उन्होंने कहा कि वह शानदार पारी थी। मुझे हेडिंग्ले में बेन स्टोक्स की पारी याद आ गई। वह बेखौफ होकर खेला और उसकी पारी अविश्वसनीय रही। शुभमन गिल ने भी अच्छी बल्लेबाजी की।