प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान महिला पत्रकार की गाल थपथपाने पर तमिलनाडु के राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित एक और विवाद में घिर गए। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान उन्होंने एक महिला पत्रकार के सवाल पर उसकी गाल थपथपा दी। विपक्षी पार्टी द्रमुक ने घटना को संवैधानिक पद पर बैठे एक व्यक्ति का ‘अशोभनीय’ कृत्य करार दिया। यह घटना उस समय हुई जब 78 वर्षीय राज्यपाल राजभवन में भीड़ भाड़ वाले प्रेस कॉन्फ्रेंस स्थल से जा रहे थे। राज्यपाल की ये फोटो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है।
महिला पत्रकार के मुताबिक, इस घटना के बाद उसने कई बार अपना मुंह धोया, लेकिन वो इस बात को भुला नहीं पा रही थी। महिला पत्रकार ने ट्वीट किया कि, ‘मैंने अपना चेहरा कई बार धोया, लेकिन मैं इस भाव से छुटकारा नहीं पा रही। राज्यपाल बनवारी लाल पुरोहित से मैं काफी गुस्से में हूं। ये हो सकता है आपके लिए प्रोत्साहन का तरीका और दादाजी जैसा रवैया हो, लेकिन मेरे लिए आप गलत हैं।’महिला पत्रकार ने आगे लिखा, ये अव्यवहारिक रवैया है। किसी भी अंजान को उसकी सहमति के बिना छूना, खास तौर से महिला को, ये गलत है।
द्रमुक की राज्यसभा सदस्य कनिमोई ने ट्वीट किया, ‘‘अगर संदेह नहीं भी किया जाए तब भी सार्वजनिक पद पर बैठे एक व्यक्ति को इसकी मर्यादा समझनी चाहिए और एक महिला पत्रकार के निजी अंग को छूकर गरिमा परिचय नहीं दिया या किसी भी इंसान द्वारा दिखाया जाने वाला सम्मान नहीं दर्शाया।’ जानकारी के मुताबिक, एक मीडिया संस्थान में काम करने वाली महिला पत्रकार लक्ष्मी सुब्रमण्यम ने गवर्नर पर गंभीर आरोप लगाया है। घटना केबाद महिला पत्रकार ने ट्वीट कर कहा कि प्रेस कॉन्फ्रेंस में मैं तमिलनाडु के गवर्नर बनवारीलाल पुरोहित से सवाल पूछ रही थी, तभी उन्होंने मेरी अनुमति के बिना ही मेरे गाल थपथपाए।
बता दें कि गवर्नर की ओर से यह प्रेस कॉन्फ्रेंस देवांग आर्ट्स कॉलेज की प्रोफेसर नर्मला देवी के मामले को लेकर बुलाई गई थी। दरअसल, इस महिला प्रोफेसर पर आरोप है कि उन्होंने अपनी छात्राओं को अधिकारियों के साथ एडजस्ट करने के बदले पैसे और अधिक नंबर मिलने का प्रलोभन दिया था। जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया। उधर शिक्षिका निर्मला देवी पर यह भी आरोप है कि उन्होंने लोगों में राज्यपाल के नाम पर लोगों को भ्रमित किया था। उन्होंने अपने आप को राज्यपाल का करीबी बताया था। हालांकि राज्यपाल ने उनके दावे को सिरे से खारिज कर दिया था।